लेखक :- Sourav Kumar
कैटेगरी :- ताजा खबर | डोनाल्ड ट्रंप ने भारत-पाकिस्तान सीजफायर पर पलटी मारी
Publish Date :- Saturday, 17 May 2025
Contents
मुख्य बातें
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भारत ने सिंधु जल संधि को 22 अप्रैल के पहलगाम आतंकी हमले के बाद स्थगित किया
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जल शक्ति मंत्रालय ने कहा – पाकिस्तान को सीमापार आतंकवाद का समर्थन बंद करना होगा
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पाकिस्तान ने अब इस समझौते पर फिर से बातचीत की इच्छा जताई
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भारत ने सिंधु नदियों पर अपने जल संसाधन विकास कार्य शुरू कर दिए हैं
पूरा मामला क्या है?
1960 में भारत और पाकिस्तान के बीच विश्व बैंक की मध्यस्थता में हुई सिंधु जल संधि (Indus Water Treaty) अब गंभीर मोड़ पर है। 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए पाकिस्तान प्रायोजित आतंकी हमले के बाद भारत ने इस संधि को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया है।
भारत का स्पष्ट रुख
केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय ने अपनी मासिक रिपोर्ट में साफ लिखा है कि,
“जब तक पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद को समर्थन और संरक्षण देना बंद नहीं करता, संधि स्थगित ही रहेगी।”
सचिव देवश्री मुखर्जी ने यह भी कहा कि पाकिस्तान के प्रयास विश्वसनीय और स्थायी होने चाहिए, ताकि भविष्य में किसी भी प्रकार के समर्थन की कोई गुंजाइश न बचे।
पाकिस्तान की ‘रहम’ की अपील
भारत के इस कड़े रुख के बाद, पाकिस्तान ने पहली बार इस संधि पर पुनर्विचार और बातचीत की इच्छा जताई है। लेकिन सरकारी सूत्रों के अनुसार, भारत अपनी स्थिति से पीछे हटने को तैयार नहीं है।
भारत ने शुरू किया जल प्रबंधन का नया अध्याय
भारत अब सिंधु जल संधि के तहत आने वाली छह नदियों पर स्वतंत्र रूप से कार्य कर रहा है। इसमें विशेष रूप से जल विद्युत परियोजनाओं के बांधों की मासिक सफाई का निर्णय लिया गया है।
अब तक पाकिस्तान इन परियोजनाओं में अड़चनें डालता रहा है, लेकिन अब भारत ने पूरी तरह स्वावलंबन की नीति अपनाई है।
FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले सवाल)
❓ सिंधु जल संधि क्या है?
🔹 यह 1960 में भारत और पाकिस्तान के बीच हुई एक ऐतिहासिक जल समझौता है, जिसमें छह नदियों के जल बंटवारे की व्यवस्था तय की गई थी।
❓ भारत ने सिंधु जल संधि क्यों स्थगित की?
🔹 जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए पाकिस्तान समर्थित आतंकी हमले के बाद भारत ने यह निर्णय लिया।
❓ क्या पाकिस्तान ने संधि को लेकर बातचीत की इच्छा जताई है?
🔹 हां, भारत के सख्त रुख के बाद पाकिस्तान ने पहली बार इस संधि पर पुनर्विचार की इच्छा जताई है।
❓ भारत का रुख क्या है?
🔹 भारत ने स्पष्ट किया है कि जब तक पाकिस्तान आतंकवाद को समर्थन देना नहीं बंद करता, कोई बातचीत या समझौता संभव नहीं है।
❓ भारत अब क्या कदम उठा रहा है?
🔹 भारत ने सिंधु जल संधि के अंतर्गत आने वाली नदियों पर अपने नियंत्रण और विकास कार्यों को तेज कर दिया है, जिनमें बांधों की सफाई और जल परियोजनाएं शामिल हैं।
निष्कर्ष
भारत ने यह साफ संकेत दिया है कि अब वह पाकिस्तान की दोहरे रवैये को बर्दाश्त नहीं करेगा। आतंकवाद और समझौतों में ईमानदारी एक साथ नहीं चल सकते। सिंधु जल संधि अब सिर्फ दबाव की रणनीति नहीं, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा नीति का हिस्सा बन चुकी है।
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